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Lyricsgram
सूरज lyrics
कैसे समझाऊं
एक बार आती है रुत ऐसी
देखो मेरा दिल मचल गया
चहरे पे गिरी ज़ुल्फ़ें
तितली उडी उड़ जो चली
इतना है तुमसे प्यार मुझे
बहारों फूल बरसाओ
सजाना छोडो
कबूतरी बोले कबूतर से
एक लड़की नाचे रस्ते में
आगे प्यार पीछे प्यार