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बिल्वमंगल lyrics

ये रात दिन का फेरा लगा
प्यार की पीर सुहानी सुहानी
मोहन प्यारे अब और साज़
जाके बाईं प्यारे प्यारे हैं
चुभ गए दो नैना मतवारे
अब सुनि भाई रे अटरिया
ो दीवाली के दिए
काजल वाली अँखियाँ मोरि तोह
हम इतना तुमसे कह के
बचपन बीता आयी जवानी
हम इश्क़ के मारों को
परवानों से प्रीत सीख ले
पनघट पे मोरे श्याम